राईट न्यूज / बिलास पूर
प्रदेश की सबसे युवा जिला परिषद अध्यक्ष की ढाई साल में ही कुर्सी चली गई। जिला परिषद बिलासपुर की अध्यक्ष मुस्कान के खिलाफ बुधवार को अविश्वास प्रस्ताव पास हो गया। अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में उपस्थित 11 सदस्यों ने वोट किया, जबकि अध्यक्ष मुस्कान सहित तीन सदस्य अनुपस्थित रहे। हालांकि भाजपा समर्थित मुस्कान ने प्रस्ताव से दो दिन पहले ही इस्तीफा देकर एक बार फिर अध्यक्ष की कुर्सी बचाने का दांव खेला, लेकिन इस बार वह कामयाब नहीं हो पाईं। मुस्कान 10 जनवरी 2021 में 21 साल की उम्र में अध्यक्ष बनी थीं। नए अध्यक्ष का चुनाव 17 जुलाई को होगा।
बुधवार को जिला परिषद भवन के सभागार में अध्यक्ष मुस्कान के खिलाफ लाए गए अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा को लेकर उपायुक्त आबिद हुसैन सादिक अध्यक्षता में बैठक हुई। बैठक में 11 सदस्य शामिल हुए, जबकि अध्यक्ष मुस्कान, सदस्य सत्या देवी और प्रेम सिंह ठाकुर अनुपस्थित रहे। बैठक की कार्यवाही प्रारंभ करते हुए उपायुक्त ने मतदान की संपूर्ण प्रक्रिया के बारे में विस्तृत रूप से जानकारी दी। गुप्त मतदान के माध्यम से उपस्थित सभी 11 सदस्यों ने अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में अपना मत दिया। अविश्वास प्रस्ताव 11-0 से पारित होने की घोषणा उपायुक्त ने की।
मुस्कान के खिलाफ तीसरी बार अविश्वास प्रस्ताव लाया गया था। पहली बार मार्च में अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव प्रस्तुत किया गया था। चर्चा के लिए 27 मार्च को बैठक रखी गई थी। बैठक से एक घंटे पहले दोनों पदाधिकारियों ने इस्तीफा दे दिया। इस्तीफा एक माह तक पंचायतीराज निदेशक के पास विचाराधीन रहा। इसी अवधि के दौरान दोनों पदाधिकारी नियमानुसार इस्तीफा वापस ले सकते थे। इसी नियम का फायदा उठाकर दोनों पदाधिकारियों ने समय अवधि खत्म होने से एक दिन पहले इस्तीफा वापस ले लिया। 19 मई को दोनों पदाधिकारियों के खिलाफ दूसरी बार अविश्वास प्रस्ताव लाने की मांग की गई। एक जून को चर्चा का दिन निर्धारित हुआ। इसी बीच प्रस्ताव के खिलाफ अध्यक्ष मुस्कान ने प्रदेश उच्च न्यायालय में याचिका दायर की।
31 मई को मुस्कान ने अदालत से याचिका वापस ले ली और उसी दिन एक बार फिर इस्तीफा दे दिया, जबकि एक जून को हुई बैठक में उपाध्यक्ष प्रेम सिंह ठाकुर ने अविश्वास प्रस्ताव का सामना किया, जिसमें उन्हें कुर्सी गंवानी पड़ी। इसके बाद 17 जून को नए उपाध्यक्ष के चुनाव हुए, जिसमें मान सिंह धीमान उपाध्यक्ष बने, लेकिन अध्यक्ष मुस्कान विभागीय नियम की खामी का फायदा उठाकर कुर्सी बचाने में कामयाब रहीं। तीसरी बार अध्यक्ष के खिलाफ 5 जुलाई को अविश्वास प्रस्ताव प्रस्तुत किया गया। 12 जुलाई यानी बुधवार को चर्चा का निर्धारित हुआ, लेकिन मुस्कान ने 10 जुलाई को इस्तीफा देकर फिर से एक माह के लिए कुर्सी बचाने की चाल चली, लेकिन पंचायतीराज निदेशालय से मिले दिशानिर्देश पर इस बार अविश्वास प्रस्ताव पर बैठक हुई, जिसमें अध्यक्ष को कुर्सी गंवानी पड़ी। बैठक में अतिरिक्त उपायुक्त डॉ. निधि पटेल, जिला पंचायत अधिकारी अश्वनी कुमार उपस्थित रहे।
अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में 11 सदस्यों ने मतदान किया। अध्यक्ष पद के चुनाव के लिए आगामी तिथि 17 जुलाई निर्धारित की गई है, जिसके लिए दो तिहाई कोरम की आवश्यकता होगी। -आबिद हुसैन सादिक, उपायुक्त बिलासपुर